मेरठ 18 अक्टूबर (प्र)। बदलते मौसम के साथ डेंगू बुखार का खतरा बढ़ गया है। दो दिन के भीतर शहरी क्षेत्र के 12 मरीजों में डेंगू की पुष्टि हुई। एकाएक डेंगू मरीजों की संख्या बढ़ने पर स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड पर आ गया है। इस साल 56 मामले मिल चुके हैं। इनमें शहरी क्षेत्र के 46 केस शामिल हैं। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. अशोक कटारिया ने लोगों से मच्छरों से बचाव के उपाए अपनाने की अपील की है। मौजूदा मौसम को देखते हुए अगले 15 दिन डेंगू से बचाव के लिहाज से बेहद महत्वपूर्ण हैं। दीपावली के पर्व के दौरान विशेष सतर्कता बरतने की जरूरत है।
इन क्षेत्रों में सामने आए डेंगू के मरीज
स्वास्थ्य विभाग के पास मंगलवार और बुधवार की रिपोर्ट आई है। जिसमें शहरी क्षेत्र में रशीदनगर, माता का बाग, करीमनगर, नई बस्ती, जिमखाना, श्यामनगर, गुप्ता कालोनी, कांच का पुल, मोदीपुरम में पल्लवपुरम फेज- दो, जानी पास्त्रा, दुल्हैड़ा, और अंसल सुशांत सिटी से डेंगू के मामलों की पुष्टि की गई है। ज्यादातर मरीजों का उपचार शहर के अलग-अलग अस्पतालों में चल रहा है।
हाई रिस्क श्रेणी पर हैं ये क्षेत्र
अब्दुल्लापुर, ब्रह्मपुरी, कैंट क्षेत्र, जयभीम नगर, कंकरखेड़ा, कुंडा, कसेरूबक्सर, लक्खीपुरा, लल्लापुरा नई बस्ती, मकबरा डिग्गी, मलियाना, नगला बट्टू, पल्हैड़ा, पुलिस लाइन, रजबन, राजेंद्रनगर, साबुन गोदाम, संजयनगर, शकूरनगर, तारापुरी, तहसील, इस्लामाबाद, जाहिदपुर, जाकिर कालोनी हाई रिस्क श्रेणी पर हैं।
ऐसे फैलता है डेंगू
ठहरे हुए साफ पानी में डेंगू का लार्वा पनपता है।
डेंगू फैलाने वाले मच्छर दिन में सुबह और शाम में काटते हैं।
डेंगू कम रोग प्रतिरोधक क्षमता वाले व्यक्ति को होने के अवसर अधिक होते हैं।
डेंगू की पहचान और लक्षण
तेज ठंड लगकर बुखार आना ।
सिर और आंखों में दर्द होना।
शरीर और जोड़ों में दर्द होना ।
भूख कम लगना, जी मचलाना ।
उल्टी और दस्त आना।
शरीर पर लाल धब्बे ।
गंभीर स्थिति में आंख, नाक से खून आना।
ऐसे करें बचाव
घर के अंदर व बाहर पानी जमा न होने दें।
पानी के सभी बर्तन को खुला न रखें
रसाई व वाशरूम को सूखा रखें।
कूलर का पानी सुबह-शाम बदलें।
खिड़कियों, दरवाजों पर जाली लगाएं।
शरीर पर मच्छर दूर रखने वाली क्रीम लगाएं।
शरीर पूरी तरह से ढकने वाले कपड़े इन दिनों पहनें।
सोते समय मच्छरदानी का प्रयोग करें।
मच्छर मारने वाली दवा का छिड़काव घर के आसपास करें ।
वरिष्ठ फिजिशियनडा. तनुराज सिरोही का कहना है कि डेंगू के लक्षण समझ आते ही जांच कराएं। पहले ही दिन से डेंगू की पुष्टि हो सकती है। सात दिन तक बुखार का असर रहता है। डेंगू बुखार से अत्यधिक उल्टी, खाना- पीना बंद होने पर ही अस्पताल में भर्ती होने की जरूरत पड़ती है। ध्यान रखें कि डेंगू बुखार में दर्द निवारक दवाई न डेंगू का मच्छर सुबह-शाम काटता है। कपड़ों से शरीर ढककर रखें।
वरिष्ठ फिजिशियन डा. वीके विद्रा का कहना है कि डेंगू के मरीजों के खून की जांच होती है। हीमोग्लोविन या हिमेटोक्रेट का बढ़ना खतरे की निशानी है। ये डिहाइड्रेशन और ब्लडप्रेशर कम होने के लक्षण हैं। डेंगू से बचने के लिए मच्छर भगाने के इंतजाम करें। घरों में पानी भरकर न रखें। साफ पानी में डेंगू का मच्छर पनपता है। तेज बुखार, सिरदर्द होने पर डेंगू की जांच जरूर कराएं।