मेरठ 21 मई (प्र)। मेरठ में रैपिड और मेट्रो ट्रेन के स्टेशन का काम लगभग पूरा हो गया है। एनसीआरटीसी के अधिकारी ट्रैक और स्टेशन का निरीक्षण कर चुके हैं। अब कभी भी दोनों ट्रेन को शहर के स्टेशनों से हरी झंडी दिखाई जा सकती है। एनसीआरटीसी की तरफ से मंगलवार शाम को इसकी जानकारी शेयर की गई है। सीएम योगी आदित्यनाथ दोनों ट्रेन को हरी झंडी दिखाने आ सकते हैं।
एनसीआरटीसी की तरफ से बताया गया है कि इंटरसिटी यानी दिल्ली से मेरठ को जोड़ने वाली सेमी-हाई-स्पीड ट्रेन नमो भारत और मेरठ शहर में चलने वाली मेरठ मेट्रो जल्द एक साथ दौड़ती नजर आएंगी। नमो भारत की अधिकतम ऑपरेशनल स्पीड 160 किमी प्रति घंटा है, जो फिलहाल दिल्ली के न्यू अशोक नगर से मेरठ साउथ तक संचालित हो रही है। वहीं, देश की सबसे तेज मेट्रो मेरठ-मेट्रो की गति 120 किमी प्रति घंटा रहेगी। मेरठ मेट्रो साउथ से मोदीपुरम डिपो तक 13 स्टेशनों के बीच संचालित होगी। दोनों को इस तरह से शेड्यूल किया जाएगा कि यात्रियों को इंतजार कम करना पड़े. नमो भारत हर 10 मिनट और मेरठ मेट्रो हर 7 मिनट में मिलेगी.
दोनों सेवाएं एक ही प्लेटफॉर्म पर मिलेंगी. प्लेटफॉर्म की भी ऐसी सुविधा कि एक ट्रेन से उतरते ही बिना सीढ़ी-लिफ्ट के दूसरी ट्रेन पकड़ी जा सकेगी. एक ही टिकट से पूरा सफर किया जा सकेगा, अलग से मेट्रो का टिकट नहीं लेना होगा.
बेगमपुल स्टेशन को इस तरह डिजाइन किया गया है, जहां आइलैंड प्लेटफॉर्म हैं। ऐसे में दोनों ही दिशा में जाने वाली ट्रेन के लिए सीढ़ी या लिफ्ट का इस्तेमाल किए बिना यात्री उसी प्लेटफॉर्म के दोनों तरफ से अपने ट्रेन पकड़ सकते हैं। आइलैंड प्लेटफॉर्म ऐसा होता है जिसके दोनों तरफ ट्रैक होते हैं। टिकट के लिए हालांकि उसे मोदीनगर नॉर्थ से सीधे मेरठ नॉर्थ का ही टिकट लेना होगा, यानी मेट्रो का टिकट अलग से लेने की जरूरत नहीं होगी। साथ ही एक ही दिशा में चलने वाली नमो भारत और मेट्रो इस तरह प्लेटफॉर्म पर आएंगी जिससे यात्रियों को प्लेटफॉर्म पर उतरकर दूसरी तरफ जाने की आवश्यकता नहीं होगी। उसी प्लेटफॉर्म के एक तरफ नमो भारत और एक तरफ मेरठ मेट्रो आएगी।
स्टेशन पर काउंटर, मशीन, UPI, कार्ड से टिकट मिलेंगे. मोबाइल ऐप के जरिए भी टिकट लिया जा सकता है, जिसमें यात्रा प्लान करने का ऑप्शन भी हैं. जल्द ही IRCTC ऐप से भी टिकट बुकिंग की सुविधा शुरू होगी. सुरक्षा और तकनीक मामले में इन ट्रेनों में दुनिया की सबसे आधुनिक सिग्नलिंग और ऑपरेशन सिस्टम लगाए गए हैं. प्लेटफॉर्म स्क्रीन डोर से लेकर ऑटोमैटिक ट्रेन प्रोटेक्शन और सुपरविजन तक की सुविधा होगी. नमो भारत ट्रेन में 6 कोच हैं, जिसमें एक प्रीमियम और एक महिलाओं के लिए आरक्षित है. वहीं मेरठ मेट्रो में 3 कोच होंगे और सभी में महिलाओं, बुजुर्गों और दिव्यांगों के लिए सीटें आरक्षित होंगी.
नमो भारत और मेट्रो में काफी अंतर है। यात्रियों के पहचानने के लिए इनके बाहरी रंग को भी अलग किया गया है। नमो भारत में जहां बाहरी बॉडी पर मरून रंग की धारी है तो वहीं, मेट्रो पर पैरट ग्रीन (तोतई) रंग की धारी हैं। मेट्रो के दरवाजों पर भी धारियों जैसा ही रंग है और फ्रंट पर तिरंगा बना है।
दिल्ली-गाजियाबाद-मेरठ नमो भारत कॉरिडोर की कुल लंबाई 82 किलोमीटर है, जिसमें 16 नमो भारत स्टेशन शामिल हैं। इसी खंड पर मेरठ साउथ से आगे मोदीपुरम डिपो तक 23 किलोमीटर में 13 स्टेशनों के साथ मेरठ मेट्रो का संचालन होगा। मेरठ मेट्रो से सभी स्टेशनों पर रुकते हुए ये दूरी लगभग 30 मिनट में पूरी हो जाएगी। मेरठ साउथ के बाद नमो भारत ट्रेन शताब्दी नगर, बेगमपुल (अंडरग्राउंड) और मोदीपुरम पर रुकेगी।
नमो भारत और मेट्रो स्टेशनों को जहां भी संभव हो, भारतीय रेलवे के स्टेशनों, मेट्रो स्टेशनों और बस डिपो के साथ रणनीतिक रूप से जोड़ा गया है। यात्रियों के अनुभव को और बेहतर बनाने के लिए रणनीतिक रूप से मेरठ साउथ, शताब्दी नगर, बेगमपुल और मोदीपुरम स्टेशनों को इस प्रकार से डिजाइन किया गया है कि यात्रियों को दोनों सेवाओं के बीच स्विच करना आसान होगा।
मेरठ मेट्रो के लिए मेरठ साउथ, परतापुर, रिठानी, शताब्दी नगर, ब्रह्मपुरी, मेरठ सेंट्रल, भैंसाली, बेगमपुल, एमईएस कॉलोनी, डौरली, मेरठ नॉर्थ, मोदीपुरम और मोदीपुरम डिपो स्टेशन हैं। इनमें से मेरठ साउथ, शताब्दी नगर, बेगमपुल और मोदीपुरम पर नमो भारत और मेरठ मेट्रो, दोनों की सुविधा मिलेगी। मेरठ सेंट्रल, भैसाली और बेगमपुल अंडरग्राउंड स्टेशन हैं, बाकी स्टेशन एलिवेटेड हैं। मोदीपुरम डिपो एट-ग्रेड स्टेशन है।