मेरठ 01 जनवरी (प्र)। जिला पंचायत सदस्य और भाजपा नेता सुनील प्रधान के साले शिवम की हत्या के दोनों आरोपियों को मंगलवार रात मुठभेड़ में गोली लगने के बाद पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। दोनों आरोपियों से तमंचे बरामद किए गए हैं।
शिवम हत्याकांड में सलावा निवासी दो आरोपी रोहित उर्फ लाला और शहजाद निवासीगण सलावा के नाम का खुलासा हुआ था। दोनों आरोपियों की लोकेशन देररात सलावा के जंगल में मिली थी। पुलिस ने दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। इसके बाद पूछताछ कर शिवम के मोबाइल फोन और हत्या में प्रयुक्त हथियार बरामदगी के लिए पुलिस टीम आरोपियों को लेकर घटनास्थल पर जा रही थी। यहीं पर आरोपियों ने देररात छिपाए हुए तमंचे निकाल कर पुलिस पर गोली चला दी। पुलिस ने भी फायरिंग का जवाब दिया और गोली चलाई। दोनों आरोपियों को पैर में गोली लगी है।
जिला पंचायत सदस्य और भाजपा नेता सुनील प्रधान के साले शिवम के हत्यारोपियों ने पूछताछ में कई खुलासे किए हैं। आरोपियों ने पुलिस को बताया कि लोकेंद्र और उसके भांजे आशीष ने हत्या के लिए मोटी रकम देने का वादा किया था। इसी के चलते शिवम की रेकी की जा रही थी। इसके बाद 26 दिसंबर की सुबह लोकेंद्र सलावा गांव पहुंचा था और इसके बाद वारदात को अंजाम दिया गया।
पुरानी रंजिश के कारण तेजपाल और उसके भाई लोकेंद्र ने ही शिवम की हत्या की पूरी साजिश प्लान की थी। हत्या की साजिश बनकर तेजपाल पहले ही दुबई फरार हो गया था, जबकि लोकेंद्र और उसके साथियों ने यहां सलावा में शिवम की घेराबंदी की थी। लोकेंद्र के इशारे पर ही उसके भांजे आशीष ने सलावा के कुछ अपराधिक प्रवृत्ति के लोगों को अपने योजना में शामिल किया था। इन्हें मोटी रकम देने का लालच दिया गया था। आशीष मूल रूप से हरियाणा में रह रहा था जबकि वर्तमान में वह सलावा में आया हुआ था।
आशीष ने ही इस हत्या के लिए करण, शहजाद, और रोहित को अपने साथ शामिल किया। इसके बाद 7 से 8 दिन तक लगातार शिवम की रेकी की गई थी। शिवम कितने बजे घर से दुकान पर पहुंचता था और रात के समय वापस लौटने का क्या समय था, इसकी जानकारी की। इसके अलावा कई अन्य जानकारी की जा रही थी। बाद में लोकेंद्र और उसके भांजे आशीष ने मिलकर अपने साथियों के साथ शिवम का अपहरण किया और इसके बाद हत्या कर दी थी पुलिस ने फिलहाल शिवम हत्याकांड में तेजपाल, लोकेंद्र, आशीष और करण को वांटेड घोषित किया है।