मेरठ 06 सितंबर (प्र)। जुर्रानपुर फाटक पर रेलवे ट्रैक के स्लीपर बदलने के लिए गुरुवार से कार्य शुरू कर दिया गया है। पहले दिन रेलवे लाइन से रोड पैड हटा दिए गए। अब स्लीपरों के नीचे पत्थरों को सैट करने और रेलवे लाइन का एलाइमेंट करने वाली मशीनों का इंतजार है। इस कार्य के चलते गुरुवार से चार दिन के लिए बिजली बंबा बाइपास पर वाहनों का आवागमन बंद कर दिया गया है। इस रोड पर आने वाले वाहन सवार फाटक बंद देखकर दिनभर इधर-उधर भटकते रहे। लोगों ने कच्चे रास्ते से वाहनों को निकाला। इस दौरान कई दुपहिया वाहन सवार गिरकर चोटिल हुए। उधर, गांवों में ट्रैफिक बढ़ने से वहां जाम की समस्या खड़ी हो गई।
गौरतलब है कि मेरठ खुर्जा रेलवे ट्रैक रेलवे के खुर्जा सेक्शन में आता है। बरसात में जुर्रानपुर रेलवे फाटक नंबर-52सी पर उक्त ट्रैक धंस गया था। इसी कारण फाटक से ट्रेनों को धीमी गति से पास किया जा रहा है। हाल ही में मेरठ से लखनऊ के लिए संचालित की गई सेमी हाईस्पीड ट्रेन वंदे भारत भी इसी ट्रैक से गुजरती है। यहां इसकी स्पीड कम होने की समस्या को दूर करने के लिए रेलवे ने इस फाटक के स्लीपरों के नीचे पत्थरों की पैकिंग करने का निर्णय लिया। यह कार्य गुरुवार से शुरू कर दिया गया। इस कार्य के लिए रेलवे फाटक को आठ सितंबर तक के लिए बंद कर दिया गया। पहले दिन सुबह खुर्जा के सीनियर सेक्शन इंजीनियर राकेश कुमार के साथ टीम मौके पर पहुंची।
उनकी देखरेख में उक्त रेलवे फाटक पर रेलवे ट्रैक के बीच वाहनों को पास करने के लिए लगाए गए रबर के बड़े बड़े रोड पेड़ों को हटाया गया। श्रमिकों ने करीब दो घंटों में तमाम रोड पैड रेलवे टैकृक से हटा दिए। इसके बाद वहां जमा मिट्टी को हटाया गया। सीनियर सेक्शन इंजीनियर ने मुरादाबाद मंडल से स्लीपर के नीचे पत्थरों को सैट करने वाली पैकिंग मशीन को भेजने का आग्रह किया, लेकिन देर शाम तक मशीन नहीं पहुंच पाई। इस मशीन के अलावा रेलवे ट्रैक का एलाइमेंट करने वाली मशीन की मांग भी की गई।
सुबह आठ बजे से चार दिन तक के लिए रेलवे फाटक बंद होने से उक्त मार्ग पर दोपहिया वाहनों को छोड़कर अन्य वाहनों का आवागमन बंद कर दिया गया। यहां ट्रैफिक पुलिस भी तैनात रही। इसके बावजूद कुछ कार सवार लोग उक्त रोड पर पहुंच गए, लेकिन फाटक बंद देखकर उन्हें बजौट गांव के अंदर से जाना पड़ा, जबकि दुपहिया वाहन सवार रेलवे लाइन के बराबर से जाने वाली कच्चे रास्ते से ततीना से जुर्रानपुर रेलवे ट्रैक के नीचे बहुत पतले से अंडरपास से गुजरे। कीचड़ की वजह से कच्चे रास्ते पर कई दुपहिया वाहन सवार लोग गिरकर चोटिल हो गए।