मेरठ 01 नवंबर (प्र)। जिला विकास समन्वय एवं निगरानी समिति (दिशा) की बैठक में सेंट्रल मार्केट का मामला ऐसा गरमाया कि अध्यक्षता कर रहे सांसद अरुण गोविल को बैठक बीच में समाप्त करनी पड़ गई। सेंट्रल मार्केट से मिलकर सीधे दिशा की बैठक में पहुंचे सपा विधायक अतुल प्रधान ने सत्ता पक्ष के जनप्रतिनिधियों पर उदासीनता का आरोप लगाते हुए पूछा कि क्या महापौर को व्यापारियों के पुनर्वास का अधिकार है, जिस पर हरिकांत अहलूवालियों से उनकी तीखी बहस हो गई। अहलूवालिया ने दावा किया कि सालभर में व्यापारियों का पुनर्वास कर दिया जाएगा।
बैठक की शुरुआत जनप्रतिनिधियों ने पूर्व बैठक में दिए गए निर्देशों का पालन न हो पाने पर संबंधित अधिकारियों को चेतावनी जारी की। सफाई और कूड़ा निस्तारण न होने, बिजली अफसरों की मनमानी तथा भ्रष्टाचार, पेयजल योजना के नाम पर सड़कों को खोदकर छोड़ देने तथा विकास कार्यों लोकार्पण के बोर्डों पर जनप्रतिनिधियों के नाम न लिखने पर नाराजगी जताई। बैठक के अंतिम समय में सेंट्रल मार्केट के ध्वस्तीकरण पर सपा विधायक ने कमिश्नर के साथ बैठक में जनप्रतिनिधियों द्वारा तैयार किए गए प्रस्ताव के औचित्य और अधिकार पर सवाल उठाया, जिस पर महापौर हरिकांत अहलूवालिया से उनकी बहस हो गई।
सांसद हरेंद्र मलिक और चंदन चौहान ने विकास कार्यों के बोर्डों पर जनप्रतिनिधियों का नाम दर्ज करने का निर्देश दिया। जिला पंचायत अध्यक्ष गौरव चौधरी ने गांवों में पानी की टंकी और पेयजल लाइन के निर्माण के दौरान जल निगम द्वारा गांवों की सड़कों को खोदकर छोड़ दिए जाने की समस्या रखी। जल निगम के एक्सईएन ने ठीक कराने का दावा किया लेकिन जनप्रतिनिधियों से उसे नकार दिया। सांसद अरुण गोविल ने डीएम से कहा कि इस लापरवाही के लिए संबंधित अधिकारी की जिम्मेदारी निर्धारित करें।
सरधना विधायक अतुल प्रधान ने बिजली विभाग के बिजनेस प्लान के काम पूरे कराने की मांग की तथा 70 वर्ष से अधिक आयु वाले लोगों के आयुष्मान कार्ड न बन पाने की समस्या रखी। सांसद अरुण गोविल ने शहर से अवैध होर्डिंग हटाने, शौचालयों को अवैध कब्जे से मुक्त कराने, नगर निगम, एमडीए और जनप्रतिनिधियों की संयुक्त बैठक कर कालोनियों को हैंडओवर कराने का निर्देश दिया।
डीएम डा. वी के सिंह और सीडीओ ने सभी का स्वागत किया। बैठक में राज्यसभा सदस्य लक्ष्मीकांत बाजपेई, महापौर हरिकांत अहलूवालिय कैंट विधायक अमित अग्रवाल, एमएलसी धर्मेन्द्र भारद्वाज, अश्विनी त्यागी, जिला पंचायत अध्यक्ष गौरव चौधरी, विधायक सिवालखास गुलाम मौहम्मद, एसएसपी विपिन ताडा, नगर आयुक्त सौरभ गंगवार, सीडीओ नूपुर गोयल, डीएफओ वंदना फोगाट, सीएमओ डा. अशोक कटारिया समेत सभी विभागों के अधिकारी मौजूद रहे।
