मेरठ 10 मई (प्र)। विद्युत वितरण जोन-दो में कार्य में लापरवाही बरतने वाले पांच अवर अभियंताओं (जेई) के निलंबन की कार्रवाई की गई है। गर्मी बढ़ने के साथ लगातार फाल्ट की शिकायतें बढ़ी हैं। पश्चिमांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड की प्रबंध निदेशक ईशा दुहन ने उपभोक्ताओं की शिकायतों के निस्तारण के मामले में जीरो टालरेंस की नीति अपनाने के आदेश दिए थे।
विद्युत वितरण खंड मेरठ चतुर्थ के अंतर्गत आने वाले पीपली खेडा उपकेंद्र में तैनात अवर अभियंता सुधीर कुमार विगत तीन माह से बिजली चोरी पर अंकुश नहीं लगा पाए। साथ ही उन पर उपभोक्ताओं के फोन नहीं उठाने और उच्च अधिकारियों के निर्देशों के प्रति उदासीनता बरतने के आरोप हैं। अधीक्षण अभियंता संजीव कुमार वर्मा ने सुधीर कुमार को निलंबित करते हुए वितरण खंड प्रथम से संबद्ध करने के आदेश दिए हैं। वहीं, वितरण खंड प्रथम मवाना के अधिशासी अभियंता ने ढिकौली के खुर्द के अवर अभियंता हरेंद्र कुमार के खिलाफ उच्च अधिकारियों के आदेशों की अवमानना का मामला है। उन्हें भी निलंबित कर दिया गया है। बागपत वितरण मंडल के अधीक्षण अभियंता केपी खान ने असारा उपकेंद्र पर तैनात अवर अभियंता संतोष कुमार को निलंबित कर दिया है। संतोष ने लक्ष्य के सापेक्ष केवल 14 प्रतिशत राजस्व वसूली की थी।
असारा उपकेंद्र विद्युत वितरण खंड प्रथम बड़ौत के अंतर्गत आता है। वहीं, विद्युत वितरण खंड प्रथम बागपत के मीतली उपकेंद्र पर तैनात अवर अभियंता सतीश चंद ने न तो क्षेत्र में ट्रांसफार्मर की क्षतिग्रस्तता रोकने के लिए ठोस प्रयास किया, न ही मीटर रीडिंग को ठीक कराया। उन्हें भी लापरवाही के आरोप में निलंबित किया गया। मेरठ जोन द्वितीय के मुख्य अभियंता राघवेंद्र ने बताया कि उपभोक्ताओं की अवर अभियंता अनंता कुमार की बिजली के फाल्टों पर त्वरित कार्रवाई न करने, लाइन लास कम करने के लिए ठोस प्रयास न करने और कम राजस्व वसूली की शिकायत थी । जिस पर अधीक्षण अभियंता धर्म विजय ने अवर अभियंता अनंता कुमार को निलंबित कर दिया। अधीक्षण अभियंता धर्म विजय ने बताया कि 33/11 केवी उपकेंद्र मौड शिकायतों के मामले में हीलाहवाली न करने और राजस्व वसूली लक्ष्य के अनुरूप करने के निर्देश दिए थे। समीक्षा में उक्त अवर अभियंताओं की कार्यशैली संतोषजनक नहीं मिली। इसी के चलते कार्रवाई की गई है।