मेरठ 24 मई (प्र)। मेरठ जिले में नकली करेंसी का जाल बिछा है। मेरठ से करोड़ों रुपये के नकली करेंसी भारतीय रिजर्व बैंक में जमा कराई जा रही है। पांच बैंक मैनेजरों पर रिपोर्ट दर्ज होने के बाद खुफिया विभाग भी सक्रिय हो गया है।
सूत्रों के मुताबिक, पाकिस्तान से नेपाल के रास्ते नकली करेंसी पश्चिमी यूपी में पहुंचाई जा रही है। इसे मेरठ में बड़े स्तर पर खपाया जा रहा है। गिरोह की सेटिंग शहर के बड़े बैंकों में भी है। पहले भी कई लोग नकली नोटों के साथ पकड़े जा चुके हैं। उनके तार भी पाकिस्तान से जुड़े थे।
जनवरी में कानपुर की रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया की शाखा में काफी संख्या में नोट भेजे गए थे. ये नोट मेरठ के अलग-अलग बैंकों की शाखाओं की ओर से भेजे गए थे. इनमें काफी संख्या में नोट नकली पाए गए. इसके बाद ये नोट किन बैंकों से आए, इसकी जांच शुरू करा दी गई. इसमें पता चला कि रुपये पीएनबी, यूको बैंक, केनरा बैंक और आईओबी से आए थे .
इसके बाद मामले की जांच शुरू करा दी गई. जांच में बैंकों की ओर से नकली नोट भेजे जाने की बात सच साबित हुई. इसके बाद कानपुर दावा अनुभाग के मैनेजर आईपीएस गहलौत की ओर से मेरठ के सिविल लाइन थाने में बैंकों के प्रबंधकों के खिलाफ गुरुवार को रिपोर्ट दर्ज करा दी गई. इनमें 4 बैंक मैनेजर शामिल हैं. इसकी पुष्टि एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह ने की है.
एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह ने बताया कि पहले भी लालकुर्ती थाने से होमगार्ड नकली नोट के मामले में जेल भेजे जा चुके हैं, इसके अलावा भी अन्य लोगों को भी जेल भेजा गया है। नकली नोट कहां से आ रहे हैं, इसकी जांच में टीम काम कर रही है।
पुलिस अफसरों की मानें तो जो नकली नोट आरोपियों के पास से मिले हैं, उनकी आम आदमी पहचान भी नहीं कर सकता है। नोटों को देखकर और छूकर भी नहीं पता लगाया जा सकता है। वाटर मार्क के जरिए ही नोटों के नकली होने की पहचान साबित होती है। इन नोटों को पड़ोसी देश पाकिस्तान में बनाया जा रहा है। नेपाल और बांग्लादेश के जरिए भारत में भेजा जा रहा है।
मेरठ में बड़े स्तर पर नकली करेंसी का गोरखधंधा हो रहा था। जांच एजेंसी की मानें तो मेरठ से एनसीआर के अलावा दिल्ली, हरियाणा, उत्तराखंड समेत कई राज्यों में नकली करेंसी सप्लाई की जा रही।
बता दें कि जाली नोट चलाना, उन्हें छापना गंभीर अपराध माना जाता है. एक पखवाड़े पूर्व भी दो बैंकों के खिलाफ नकली नोट मिलने पर रिपोर्ट दर्ज हुई थी. एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह के मुताबिक केनरा बैंक, इंडियन ओवरसीज बैंक, यूको बैंक और पंजाब नेशनल बैंक जाग्रति बिहार के खिलाफ दो शिकायतें प्राप्त हुई हैं. इनके विरुद्ध रिपोर्ट दर्ज कर ली गई है. कानून विशेषज्ञों से राय ली जा रही है. कार्रवाई की जाएगी.
बताते चले कि आरबीआई अफसरों की चिंता की बड़ी वजह बैंकों के कैश में नकली नोटों को खपाने का प्रयास है। तमाम सरकारी व निजी बैंकों में नकली नोटों की जांच व उनको पकड़ने के सभी प्रकार के माकूल इंतजाम किए गए हैं। इसके बावजूद यदि बैंकों से भेजे जा रहे कैश में नकली नोट मिल रहे हैं तो फिर परेशानी का कारण है। इसको लेकर आरबीआई के स्तर से कई बिंदुओं पर जांच की जा रही है। जांच का दायरा बढाया गया है।