सरूरपुर 21 जून (प्र)। दो जून की रोटी कमाने के लिए बड़े सपने लेकर विदेश में नौकरी करने गए हिंदुस्तान के लोगों को भारी पड़ गया। तीन महीने पहले युगांडा में बेहतर भविष्य की तलाश में गए कस्बा करनावल व आसपास के अन्य जिलों के लोगों पर अब वहां नौकरी की आड़ में भूखा-प्यासा रखकर अत्याचार किया जा रहा है। सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल करके युगांडा में फंसे युवकों ने भारत सरकार से वापस बुलाने के लिए गुहार लगाई है। सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में हिंदुस्तानियों को बॉयलर में झोंकने और पुलिस में फंसाने की धमकी दी जा रही। जिसके बाद से सभी लोग डरे सहमें हुए हैं और आत्महत्या करने तक को मजबूर हैं।
दरअसल मार्च माह में कस्बा करनावल निवासी अशोक शर्मा पुत्र स्व. राजकुमार शर्मा जो रिटायर्ड शिक्षक के पुत्र हैं, युगांडा में किसी फैक्ट्री में नौकरी करने का सपना लेकर गये थे, लेकिन अब वहां नौकरी के आड़ में जमकर शारीरिक और मानसिक उत्पीड़न किया जा रहा है। सोशल मीडिया पर अशोक शर्मा ने 39 सेकंड की वीडियो वायरल करके किस तरह से वहां की दर्द भरी दास्तां बयां की है। उसके मुताबिक फैक्ट्री में उनसे डबल शिफ्ट में काम कराया जा रहा है और तीन महीने की सैलरी के स्थान पर महज एक महीने की सैलरी दी गई है। धमकियां दी जा रही हैं।
सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहे इस वीडियो को लेकर पीड़ित के परिवार वालों ने भी भारत सरकार गृह मंत्रालय विदेश मंत्रालय को ट्वीट करके युगांडा में फंसे इन सभी साथ भारतीयों का वापस बुलाने के लिए गुहार लगाई है। अशोक शर्मा के भाई दीपक शर्मा ने बताया कि अशोक के साथ में युगांडा में अन्य लोग भी फंसे हुए हैं। जिनमें सुनील सुंदरी कला हरियाणा, योगेंद्र गांव बिरालसी गाजियाबाद, जसवीर गांव नलेहेरा जिला गाजियाबाद, सुखराम पाल मोहम्मदपुर जाट उत्तराखंड, योगेंद्र कुमार मृत्युंजय कुमार बिहार आदि भी वहीं फंसे हुए हैं।
युगांडा में फंसे अशोक शर्मा ने बताया कि उनके पासपोर्ट और वीजा भी जिस कंपनी में काम कर रहे हैं। उन्होंने जब्त कर लिए हैं। अब उन पर इतनी रकम नहीं है जो अपने खर्चे से वापस भारत लौट सकें। इसलिए अब उनके पास आत्महत्या और सरकार से मदद की गुहार लगाने के अलावा कोई चारा नहीं बचा है।