दैनिक केसर खुशबू टाइम्स
मेरठ, 27 जून। जैसा कि सभी जानते हैं जैसे जैसे जागरूकता बढ़ रही है और अब सोशल मीडिया का वर्चस्व बढ़ता ही जा रहा है ऐसे में देश में रोज ही कोई ना कोई दिवस मनाने की परंपरा बढ़ती जा रही है। इसी क्रम में अनानास दिवस पहले भी मनाया जाता रहा हो लेकिन इस बार यह विशेष रूप से सुनने को मिल रहा है। देश में हजारों टन अनानास की बिक्री रोज होने की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता। इसका जूस और फलों की चाट में उपयोग होता ही है। शादी विवाह के दौरान सलाद के साथ भी इसका उपयोग करते रहे हैं। पहले देश में राजा वेराईयी की बिक्री ज्यादा होती थी लेकिन अब रानी वेरायटी ने बाजार पर अपना कब्जा जमा लिया है। जानकारों के अनुसार अनानास की इन दो वेरायटी की कीमतों में दोगुने का फर्क है। शायद यह अच्छी क्वालिटी की वजह से हो या महंगी वस्तुतओं का उपयेाग करना शान की बात समझी जाती है इसलिए भी ऐसा हो सकता है। अनानास सेहत के लिए अच्छा बताते हैं और इसकी बिक्री फलों की दुकानों ठेलों शोरूमों होटलांेद में खूब होती है। अनानास में विटामिन सी प्रोटीन खनिज जैसे गुण पाए जाते हैं हर साल 27 जून को अंतरराष्ट्रीय अनानास दिवस मनाया जाता है। यह भी कहते हैं कि अनानास एशिया में सौभाग्य और समृद्धि का प्रतीक है और कैरेबियन में यह दोस्ती का प्रतीक माना जाता है। इसकी गुणवत्ता खपत को ध्यान में रखते हुए मेरा सुझाव है कि देश में अनानास की खेती को बढ़ावा दिया जाए क्योंकि यह आर्थिक स्थिति मजबूत करने का माध्यम बन सकता है। लोग चाट की तरह इसका सेवन करते हैं तो होटलों में भी यह परोसा जाता है। वहां इकी कीमत कई गुना बढ़ जाती है। आम आदमी इसका उपयोग कर सके इसलिए ध्यान देना सरकार का बनता ही है। अंतरराष्ट्रीय अनानास दिवस पर इसके उत्पादकों और चाहने वालों को बधाई इस आस में कि यह गरीब अमीर सबकी पहुंच में हो सके और गरीबों में यह अपनी स्वाद के मामले में दोस्ती निभा सके।
प्रस्तुतिः- अंकित बिश्नोई संस्थापक राष्ट्रीय महामंत्री सोशल मीडिया एसोसिएशन एसएमए व पूर्व सदस्य मजीठिया बोर्ड यूपी संपादक पत्रकार
समृद्धि और दोस्ती का प्रतीक है अनानास
Share.